नवदुर्गा चतुर्थ स्वरूप माता कूष्मांडा
माता दुर्गा के नव स्वरूप
शारदीय नवरात्र का आज से शुभारंभ हो गया है। आज से नौ दिन तक मां शक्ति के स्वरूपों की आराधना की जाएगी
माता दुर्गा की चतुर्थ शक्ति है “माता कूष्मांडा” |
वन्दे वाञ्छितलाभाय चन्द्रार्धकृतशेखराम्।
माता कूष्मांडा का उपासना मंत्र
वृषारुढां शूलधरां शैलपुत्रीं यशस्विनीम्॥
नवरात्र पूजन के चोथे दिन कूष्मांडा देवी के स्वरूप की ही उपासना की जाती है त्रिवीध ताप युक्त संसार इनके उदर मे स्थित है, इसलिए ये भगवती “कूष्मांडा” कहलाती है |
ईषत हँसने से अंड को अर्थात ब्रामंड को जो पैदा करती है , वही शक्ति कूष्मांडा है| जब सृष्टि का अस्तित्व नही था, तब इन्ही देवी ने ब्रह्मांड की रचना की थी |